शेयर बाजार के काम करने के तरीके पर चर्चा करने से पहले भारतीय शेयर बाजार के परिचय की एक झलक
भारतीय शेयर बाजार का इतिहास और उसका परिचय
एशिया का सबसे पुराना शेयर मार्केट 1840 के आसपास एक बरगद के पेड़ के नीचे भारतीय शेयर बाजार का जन्म स्थान माना जाता है जहां पर बरगद के वृक्ष के नीचे सभी शेयर दलाल इकट्ठा हुआ करते थे और फिर दलालों की संख्या बढ़ती गई उनको एक नई जगह की तलाश करनी पड़ी जो कि मौजूदा समय में दलाल स्ट्रीट या मुंबई स्टॉक एक्सचेंज के नाम से जानी जाती है भारतीय शेयर बाजार सबसे पहले एसोसिएशन के रूप में 1875 ईसवी में नेटिव शेयर एंड स्टॉक ब्रोकर्स एसोसिएशन के रूप में अस्तित्व में आया
उस समय शेयर बांड के रूप में होते थे जिनको आमने-सामने बोली लगाकर खरीदा और बेचा जाता था समय के साथ साथ शेयरों को खरीदने बेचने का तरीका भी बदल गया
स्टॉक एक्सचेंज कैसे कार्य करता है
मौजूदा समय में मुंबई स्टॉक एक्सचेंज पूर्णतया डिजिटल तरीके से शेयरों की खरीद बिक्री करता है यह कार्य मुंबई स्टॉक एक्सचेंज या और भी स्टाक एक्सचेंज में हाई सिक्योरिटी कंप्यूटरों के माध्यम से किया जाता है
शेयर खरीदने और बेचने के लिए बांड या कोई भी स्टांप पेपर की जरूरत नहीं पड़ती है अब ऑनलाइन ही शेयरों की खरीद और बिक्री की जाती है किसी भी स्टॉक एक्सचेंज में ट्रेडिंग करने के लिए ब्रोकरों की आवश्यकता पड़ती है ब्रोकरों के माध्यम से ही आप स्टॉक एक्सचेंज में ट्रेडिंग कर सकते हैं मुंबई स्टॉक एक्सचेंज और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज मौजूदा समय में भारत के दो प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज है
शेयर क्या है
किसी भी कंपनी का वह छोटा सा हिस्सा जो कंपनी अपना व्यापार बढ़ाने के लिए निवेशकों को बेचती है और निवेशक इस आशय से खरीदते हैं कि कंपनियों को फायदा होगा तो उनको भी कुछ हिस्सा मुनाफे के तौर पर मिलेगा शेयरों को अब ऑनलाइन खरीदा और बेचा जाता है
शेयर बाजार में एक ही शेयर पर 2 व्यक्तियों की सोच अलग-अलग होती है जिस शेयर को आप महंगा होने के लिए खरीद रहे हैं उसी शेयर को दूसरा व्यक्ति या सोचकर बेच रहा है कि आगे जाकर यह शेयर सस्ता हो जाएगा व्यक्तियों की अलग सोच की वजह से ही शेयर मार्केट में ट्रेडिंग शेयरों की खरीदारी बिकवाली चलती रहती हैं आपकी कमाई इस पर निर्भर करती है कि आपका लिया गया फैसला कितना सही है
शेयर कैसे खरीदे और बेचे जाते हैं
यदि आप भारतीय शेयर बाजार में शेयर खरीदना और बेचना चाहते हैं तो सबसे पहले आपको किसी ब्रोकर या बैंक के माध्यम से डीमैट अकाउंट खुलवाना होगा क्योंकि स्टॉक एक्सचेंज सिर्फ लिस्टेड ब्रोकर , बैंकों के माध्यम से ही शेयर को खरीदने बेचने का अधिकार देती है खरीदे गए शेयरों के पैसे की जिम्मेदारी ब्रोकर्स की होती है इसीलिए ब्रोकर सबसे पहले अपने अकाउंट में आपके पैसे ले लेता है और जैसे ही सौदा हो जाता है वह स्टॉक एक्सचेंज को आपके द्वारा लिए गए शेयरों के हिसाब से पैसे स्टॉक एक्सचेंज को दे देता है और यदि आपने शेयर बेचे हैं तो ब्रोकर्स शेयर बेचकर आपको पैसे दे देगा
डीमैट अकाउंट क्या है
डीमेट अकाउंट बैंक अकाउंट की तरह आपके ऑनलाइन खरीदे गए शेयरों को आपके डीमैट अकाउंट में क्रेडिट कर दिया जाता है और बेचे जाने पर उन शेयरों को डेबिट कर दिया जाता है शेरों के किसी भी दस्तावेज को अब भौतिक रूप से अपने पास रखने की जरूरत नहीं होती वह आपके डीमेट अकाउंट में जमा हो जाते हैं
शेयर बाजार में आप यह गलतियां ना करें
1 पूर्ण अनुभव के बिना अधिक पूंजी से निवेश करना
2 बिना कंपनी का रिकॉर्ड देखें शेयर खरीदना
3 किसी भी व्यक्ति के कहने पर शेयर खरीदना
4 और अधिक लाभ पाने की चाहत
5 पोर्टफोलियो में एक ही जैसे शेयरों को शामिल करना
शेयर बाजार की अधिक जानकारी के लिए नीचे दी गई लिंक पर क्लिक करें
ऑनलाइन गोल्ड कैसे खरीदें
डीमैट अकाउंट क्या है कैसे खोले
nifty50 क्या है निफ्टी कैसे खरीदें
सेंसेक्स क्या है पूर्ण जानकारी
IPO क्या है आईपीओ में इन्वेस्ट कैसे करें
विश्व के प्रमुख शेयर बाजार
शेयर बाजार में कैरियर
इक्विटी और कमोडिटी क्या है
एसबीआई बैंक में डिमैट अकाउंट कैसे खोलें
शेयर बाजार क्या है शेयर कैसे खरीदें
ऑनलाइन फ्रॉड से कैसे बचें
भारतीय शेयर बाजार का इतिहास और उसका परिचय
एशिया का सबसे पुराना शेयर मार्केट 1840 के आसपास एक बरगद के पेड़ के नीचे भारतीय शेयर बाजार का जन्म स्थान माना जाता है जहां पर बरगद के वृक्ष के नीचे सभी शेयर दलाल इकट्ठा हुआ करते थे और फिर दलालों की संख्या बढ़ती गई उनको एक नई जगह की तलाश करनी पड़ी जो कि मौजूदा समय में दलाल स्ट्रीट या मुंबई स्टॉक एक्सचेंज के नाम से जानी जाती है भारतीय शेयर बाजार सबसे पहले एसोसिएशन के रूप में 1875 ईसवी में नेटिव शेयर एंड स्टॉक ब्रोकर्स एसोसिएशन के रूप में अस्तित्व में आया
उस समय शेयर बांड के रूप में होते थे जिनको आमने-सामने बोली लगाकर खरीदा और बेचा जाता था समय के साथ साथ शेयरों को खरीदने बेचने का तरीका भी बदल गया
स्टॉक एक्सचेंज कैसे कार्य करता है
मौजूदा समय में मुंबई स्टॉक एक्सचेंज पूर्णतया डिजिटल तरीके से शेयरों की खरीद बिक्री करता है यह कार्य मुंबई स्टॉक एक्सचेंज या और भी स्टाक एक्सचेंज में हाई सिक्योरिटी कंप्यूटरों के माध्यम से किया जाता है
शेयर खरीदने और बेचने के लिए बांड या कोई भी स्टांप पेपर की जरूरत नहीं पड़ती है अब ऑनलाइन ही शेयरों की खरीद और बिक्री की जाती है किसी भी स्टॉक एक्सचेंज में ट्रेडिंग करने के लिए ब्रोकरों की आवश्यकता पड़ती है ब्रोकरों के माध्यम से ही आप स्टॉक एक्सचेंज में ट्रेडिंग कर सकते हैं मुंबई स्टॉक एक्सचेंज और नेशनल स्टॉक एक्सचेंज मौजूदा समय में भारत के दो प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज है
शेयर क्या है
किसी भी कंपनी का वह छोटा सा हिस्सा जो कंपनी अपना व्यापार बढ़ाने के लिए निवेशकों को बेचती है और निवेशक इस आशय से खरीदते हैं कि कंपनियों को फायदा होगा तो उनको भी कुछ हिस्सा मुनाफे के तौर पर मिलेगा शेयरों को अब ऑनलाइन खरीदा और बेचा जाता है
शेयर बाजार में एक ही शेयर पर 2 व्यक्तियों की सोच अलग-अलग होती है जिस शेयर को आप महंगा होने के लिए खरीद रहे हैं उसी शेयर को दूसरा व्यक्ति या सोचकर बेच रहा है कि आगे जाकर यह शेयर सस्ता हो जाएगा व्यक्तियों की अलग सोच की वजह से ही शेयर मार्केट में ट्रेडिंग शेयरों की खरीदारी बिकवाली चलती रहती हैं आपकी कमाई इस पर निर्भर करती है कि आपका लिया गया फैसला कितना सही है
शेयर कैसे खरीदे और बेचे जाते हैं
यदि आप भारतीय शेयर बाजार में शेयर खरीदना और बेचना चाहते हैं तो सबसे पहले आपको किसी ब्रोकर या बैंक के माध्यम से डीमैट अकाउंट खुलवाना होगा क्योंकि स्टॉक एक्सचेंज सिर्फ लिस्टेड ब्रोकर , बैंकों के माध्यम से ही शेयर को खरीदने बेचने का अधिकार देती है खरीदे गए शेयरों के पैसे की जिम्मेदारी ब्रोकर्स की होती है इसीलिए ब्रोकर सबसे पहले अपने अकाउंट में आपके पैसे ले लेता है और जैसे ही सौदा हो जाता है वह स्टॉक एक्सचेंज को आपके द्वारा लिए गए शेयरों के हिसाब से पैसे स्टॉक एक्सचेंज को दे देता है और यदि आपने शेयर बेचे हैं तो ब्रोकर्स शेयर बेचकर आपको पैसे दे देगा
डीमैट अकाउंट क्या है
डीमेट अकाउंट बैंक अकाउंट की तरह आपके ऑनलाइन खरीदे गए शेयरों को आपके डीमैट अकाउंट में क्रेडिट कर दिया जाता है और बेचे जाने पर उन शेयरों को डेबिट कर दिया जाता है शेरों के किसी भी दस्तावेज को अब भौतिक रूप से अपने पास रखने की जरूरत नहीं होती वह आपके डीमेट अकाउंट में जमा हो जाते हैं
शेयर बाजार में आप यह गलतियां ना करें
1 पूर्ण अनुभव के बिना अधिक पूंजी से निवेश करना
2 बिना कंपनी का रिकॉर्ड देखें शेयर खरीदना
3 किसी भी व्यक्ति के कहने पर शेयर खरीदना
4 और अधिक लाभ पाने की चाहत
5 पोर्टफोलियो में एक ही जैसे शेयरों को शामिल करना
शेयर बाजार की अधिक जानकारी के लिए नीचे दी गई लिंक पर क्लिक करें
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